भाकियू ने धूमधाम से सुभाष चंद्र बोस की मनाई जयंती,क्षेत्र में सत्तापक्ष के सभी रहे बेफिक्र

भाकियू ने धूमधाम से सुभाष चंद्र बोस की मनाई जयंती,क्षेत्र में सत्तापक्ष के सभी रहे बेफिक्र
पी पी एन न्यूज
(कमलेन्द्र सिंह)
बिंदकी/फतेहपुर
"तुम मुझे खून दो मैं तुम्हे आजादी" यह नारा आज हर हिन्दुस्तानी के जहन में बरकरार है, जिसे याद करके सभी के रोंगटे खड़े हो जाते हैं। इतिहास गवाह है कि देश की आजादी के लिए स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों एवम् कई देश के रक्षकों ने अपना खून बहा दिया, तो क्या उनके लिए हर हिन्दुस्तानी का कोई भी कर्तव्य नहीं बनता कि उनकी जयंती मनाकर उनको याद किया जा सके। शनिवार को भारतीय किसान यूनियन ( राष्ट्रवादी ) गुट के लोगों ने खजुहा के समीप स्थित शहीद बावनी इमली में नेताजी सुभाष चंद्र बोस के प्रतिमा पर पुष्पमाला पहनाकर धूमधाम से जयंती मनाई किन्तु नगर व क्षेत्र में कहीं पर भी सत्तापक्ष से काबिज नेताओं ने उनकी याद में नजर नहीं आए, जो काफी निंदा एवम् चर्चा का विषय रहा।
भारतीय किसान यूनियन राष्ट्रीयता वादी गुट के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामचंद्र सिंह ने पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के तहत आयोजित कार्यक्रम में पहुंचकर अमर शहीद जोधा सिंह अटैया समेत 52 अमर शहीदों को श्रद्धा सुमन अर्पित किया। इसके उपरांत उन्होंने नेताजी सुभाष चंद्र बोस के चित्र पर माल्यार्पण कर उनके व्यक्तित्व और कृतित्व पर चर्चा करते हुए कहा कि की देश को आजाद कराने के लिए जो नेता जी ने नारा दिया था वो आज नारा सार्थक सिद्ध हुआ और देश के लाखों लोगों ने उनका अनुसरण करके अपनी जान तक की कुर्बानी देकर देश को आजाद कराया था। इस मौके पर राष्ट्रीय उपाध्यक्ष गजेंद्र दिवेदी, प्रदेश अध्यक्ष रमाकांत, प्रदेश महासचिव विष्णु कांत मिश्रा, महिला मोर्चा की प्रदेश संगठन मंत्री कुंती देवी, के साथ प्रयागराज मंडल के अध्यक्ष अशोक उत्तम, जिला अध्यक्ष रामसहाय पटेल, तहसील अध्यक्ष नवल सिंह पटेल, सफी अहमद, मोहम्मद नसरत, महेंद्र सिंह परिहार, पुन्नू शुक्ला, शिव भोला पटेल, दीपू पांडे, राम सिंह यादव, ने भी अमर शहीदों तथा नेताजी सुभाष चंद्र बोस को श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुए कृषि कानून पर विरोध जताते हुए कहा कि हर हाल में कृषक कानून वापस लिया जाना चाहिए। उन्होंने क्षेत्रीय समस्याओं पर भी चर्चा की और कहा गया कि शासन- प्रशासन और पुलिस विभाग के लोग बार-बार आश्वासन के बाद भी उनकी समस्याएं हल नहीं करते जिसके चलते परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है जो काफी निंदनीय है। अंत में उपस्थित लोगों को जलपान कराया गया और भारत माता की जय के उदघोष के बाद कार्यक्रम को समाप्त किया गया।
Comments